सरहद न्यूज
देश में पिछले कुछ समय से पाकिस्तान के लिए जासूसी करने वाली युवतियों के हनीट्रैप में भारतीय सेना के जवानाें काे फांसने के मामले लगातार सामने अा रहे है। इंडियन आर्मी के जवानाें काे अपनी खूबसूरती के जाल में फंसाने के लिए ये युवतियां सिविलियन काे कड़ी के रूप में इस्तेमाल करते हैं। पाली, जैसलमेर व जाेधपुर जिले से मिलिट्री इंटेलिजेंस के इनपुट के बाद स्टेट इंटेलिजेंस टीम ने एेसे ही चार सिविलियन काे पकड़ कर पूछताछ की ताे खुलासा हुअा कि पाक के लिए जासूसी करने वाली युवतियाें में काॅलेज गर्ल्स व सेक्स वर्कर्स का इस्तेमाल किया जा रहा है, जिसके बदले उनकाे पैसा दिया जाता है। यह साेशल मीडिया के जरिए युवाओं को अपने जाल में फंसाकर उनके माेबाइल नंबर से अाेटीपी ले लेती हैं। इसके बाद पाकिस्तान में बैठकर भारतीय सेना, एयरफोर्स, नेवी, डीआरडीओ, रेलवे, बीएसएफ से जुड़े लोगों को सोशल मीडिया के माध्यम से दोस्त बनाकर उन्हें सेक्स चैट के जाल में फंसा हनीट्रैप करती हैं।

नाम, लिबास और बोली भारतीयों जैसी दिखाती हैं, पूजा का भी ढोंग, साेशल मीडिया पर भारतीय युवकों से दोस्ती के बाद न्यूड वीडियो काॅल कर हनीट्रैप में फंसाकर जासूसी
खुफिया सूत्राें ने बताया पाकिस्तानी इंटेलिजेंस साेशल मीडिया पर युवतियों के निशा, कमलप्रीत, रिया, पूजा, अवनी, अनिका, हरलीन, अमृता, पूर्वी, मुस्कान, पायल, स्नेहा, अलीना जैसे भारतीय नाम रख इंडियन हिंदू या सिख आइडेंटिटी का कवर देती है। इन आईडी से उन्हें रिक्वेस्ट मैसेज भिजवाती है। रिक्वेस्ट एक्सेप्ट होने के बाद युवतियां प्रेमजाल में फंसा लेती है। सेक्स चैट के लिए उकसाती है व न्यूड वीडियो कॉल करती है। प्रेमजाल में फंसे फौजी उसकी मांग पर खुद न्यूड हो जाते हैं, जिसे पीआईओ रिकॉर्ड कर ब्लैकमेलिंग करती है।
कैप्टन-लेफ्टिनेंट कर्नल ट्रेंड करते हैं, एक दिन पहले संभाग से पकड़े गए 4 संदिग्ध इन चेहरों ने फांसे थे
पीअाईअाे की योग्यता: भारतीय जैसी झलक अाैर हिंदी के साथ क्षेत्रीय भाषा का ज्ञान: पाक के कराची, लाहौर, हैदराबाद जैसे शहरों में आईएसआई और पाक मिलिट्री इंटेलिजेंस के अफसर कॉलेज में पढ़ने वाली खूबसूरत लड़कियाें, लोकल सेक्स वर्कर्स को ढूंढ़कर उन्हें हायर करते हैं। हिंदुस्तानी जैसी दिखने वाली युवतियाें को ही लिया जाता है। इसके बाद इन्हें भारतीय फौज के बारे में सिखाया-पढ़ाया जाता है। सेना, एयरफोर्स, नेवी, डीआरडीओ की रैंक की जानकारी दी जाती है और उन्हें भारतीय सेना की विभिन्न यूनिट्स की लोकेशन और डिटेल बताई जाती है। इन युवतियों को पीआईओ (पाकिस्तानी इंटेलिजेंस ऑपरेटिव) कहा जाता है। पीआईओ के साथ अफसर को-ऑर्डिनेट करता है जो, आमतौर पर कैप्टन या लेफ्टिनेंट कर्नल रैंक का होता है।
दोस्त बना मोबाइल नंबर लेती हैं, उसी से वॉट्सएप ऑपरेट
डिफेंस से जुड़े लोगों से बात करने व भारतीय मोबाइल नंबर +91 का वॉट्स एप बनाने के लिए यह युवतियां नागरिकों से सोशल मीडिया पर दोस्ती करने के बाद सेक्स चैट व न्यूड वीडियो कॉल के बदले नंबर ले लेती हैं। उस नंबर के ओटीपी लेकर खुद वॉट्सएप आॅपरेट करती हैं। हनीट्रैप के दौरान सैनिकों को भारतीय नंबर के चलते शक नहीं हो, इसलिए ऐसा करती हैं।
लवलीना, रीतू बाइसा, स्नेहा व पूजा नाम की इन पाक जासूसों ने फेसबुक पर फर्जी आईडी बना रखी है। इन पर ये युवतियां भारतीय सेना की वर्दी और भारतीय परिधान पहनकर फाेटाे अपलाेड कर भ्रमित करती है।
कमरे में देवी-देवताओं की तस्वीरें लगा करती है भ्रमित
पीअाईअाे की बेसिक ट्रेनिंग पूरी होने के बाद उसे होटलों या आर्मी कैंट में बने स्पेशल कॉटेज में अटैच बाथरूम वाला कमरा दिया जाता है। ऐसा देखा गया है कि कमरों की दीवार पर हिंदू देवी-देवताओं की तस्वीरें लगी होती है और एक छोटा मंदिर भी बना होता है। ताकि भारतीय सैनिकों के साथ सिविलियन को यह लगे कि युवती भारतीय और धार्मिक है।